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जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय शुरू करेगा भारतीय भाषाओं का स्कूल

अश्रुतपूर्वा II

नइ दिल्ली। जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में आने वाले समय में देश की सांस्कृतिक विविधता की एक नई तस्वीर दिखेगी। यह विश्वविद्यालय अगले साल भारतीय भाषाओं का एक नया स्कूल शुरू करेगा। इस में विभिन्न भाषाओं के पाठ्यक्रम पेश किए जाएंगे। जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय की कुलपति शांतिश्री डी पंडित ने पिछले दिनों बताया कि भारतीय भाषाओं के स्कूल में अलग-अलग राज्यों के केंद्र होंगे, जहां साहित्य, संस्कृति और इतिहास पढ़ाया जाएगा।
जेएनयू की कुलपति ने बताया कि भारतीय भाषाओं के स्कूल के लिए कई राज्यों ने रुचि दिखाई है। तमिलनाडु पहले ही अपने केंद्र के लिए दस करोड़ रुपए दे चुका है। शांतिश्री डी पंडित ने कहा, जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय भारतीय भाषाओं का एक नया स्कूल शुरू कर रहा है, जहां कई राज्य सरकारें विश्वविद्यालय को पीठ स्थापित करने के लिए कोष दे रही हैं। वे न केवल भाषाओं, बल्कि उस राज्य के साहित्य, इतिहास और संस्कृति के विशेष केंद्र बनेंगे।
कुलपति ने कहा, तमिलनाडु के बाद चार और राज्यों ओडिशा, कर्नाटक, महाराष्ट्र और असम दस-दस करोड़ रुपए देंगे। हमारे पास 50 करोड़ रुपए का कोष होगा। कुलपति ने कहा कि विश्वविद्यालय इस संबंध में विभिन्न राज्यों से संपर्क कर रहा है। उन्होंने कहा कि इन केंद्रों में सर्टिफिकेट पाठ्यक्रम और मास्टर पाठ्यक्रम पेश किए जाएंगे।
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय ने पिछले दिनों तमिल विरासत सप्ताह और भारतीय भाषा सप्ताह की भी शुरूआत की है। यह कार्यक्रम देश भर में भारतीय भाषाओं के इतिहास और विरासत का जश्न मनाने के प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण और मिशन को लागू करने के लिए आयोजित किया जा रहा है। (यह समाचार मीडिया में आई खबर की पुनर्प्रस्तुति है)

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